Saturday 18 June 2016

क्या हमे प्रमाण देना पड़ेगा की अयोध्या में श्री राम आये थे, मथुरा में श्री कृष्ण आए थे?


अनन्त श्री विभूषित पूज्य महंत श्री नृत्यगोपालदास जी महाराज के 78वें जन्मोत्सव पर अयोध्या जी में प्रभु श्री राम के मंदिर निर्माण हेतु आज विराट संत सम्मेलन किया गया जिसमे पूज्य महाराज श्री एवं पुरे देश से पधारे हुए अनेकोएक संतों ने अपने वक्तव्य व्यक्त किये। पूज्य महाराज श्री ने श्री राम निर्माण पर बोलते हुए कहा की बड़े ही सौभाग्य की बात है की पिछले कई दिनों से हम महाराज श्री के पावन सानिध्य में हम ये महोत्सव मना रहे हैं। इस देश को जीन संतों ने आज तक बचा कर रखा आज उन्ही संतों की छवि को दूषित करने का षड़यंत्र रचा जा रहा है। ये इस देश का दुर्भाग्य नही तो क्या है। राम मंदिर का निर्माण नही हो रहा है इसमें किसी और की नही बल्कि हमारी ही कमी है। हम किस देश में रह रहे हैं जहाँ श्री राम का मंदिर नही बनाया जा सकता और अगर मंदिर निर्माण की बात करें तो हम से कह दिया जाता है की हम सांप्रदायिक बातें कर रहे हैं। कौन नहीं जनता की अयोध्या में राम आये थे, मथुरा में श्री कृष्ण आए थे। क्या कोर्ट ये सब नहीं जानता। क्या हमे प्रमाण देना पड़ेगा की अयोध्या में श्री राम आये थे, मथुरा में श्री कृष्ण आए थे। 




अगर आज हमे सबसे ज्यादा जरूरत है तो वो है संतों के मार्ग दर्शन की। आज हमारे देश में गऊ सुरक्षित नहीं है। हमें आजाद हुए 68 साल हो चुके हैं इतनी गऊ हत्याएं अंग्रेजों के समय में नहीं होती थी जितनी आज हो रही हैं। आज हमारे देश में हमारे बच्चों को इंग्लिश मीडियम स्कूलों में हाथ में कलावा, गले में कंठी और राम-राम बोलने से रोक दिया जाता है। हम रह कहाँ रहे हैं हिंदुस्तान में या पाकिस्तान में एक तरफ तो हमारा संविधान कहता है की आप आपने धर्म का पालन करिये और दूसरी तरफ इंग्लिश मीडियम स्कूलों में हमारे बच्चों को राम-राम बोलने से रोक दिया जाता है। 





उन्हें संस्कार विहीन बनाया जा रहा है। गऊ हत्या हम रोक नही सकते, राम मंदिर हम बना नही सकते तो हमको हिन्दू कहेगा कौन? चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी भी इन्ही विषयों पर चर्चा किया करते थे लेकिन अब वो कहते हैं की राज्यसभा में हमारा बहुमत नहीं है अरे आप लोकसभा से लेके तो चलिए अगर जरुरत पड़ी तो ये साधू-संत ये जनता जो आपको लोकसभा में बहुमत दिला सकती है वो आपको राज्यसभा में भी बहुमत दिलवा सकती है। लेकिन इससे पहले सनातन धर्म के लिए जो तीन-चार कार्य जरुरी हैं करने होंगे अयोध्या में राम मंदिर बनवाना होगा, मथुरा में कृष्ण मंदिर बनवाना होगा, गऊ हत्या बंद करानी होगी और किसी भी स्कुल में हमारी भारतीय परम्परा को रोका नहीं जाना चाहिए। अगर ये कार्य हो गए तो भारत एक बार पुनः विश्व गुरु के रूप में उभर कर आएगा।


संत सम्मेलन में पूज्य श्री नृत्यगोपालदास जी महाराज, श्री हंसदेवाचार्य जी महाराज, श्री श्रीधराचार्य जी महाराज, श्री बाबा बलरामदास जी महाराज, स्वामी श्री चिन्मयानंद जी महाराज, स्वामी श्री सुतिक्षणदास जी महाराज, स्वामी श्री अग्रदेवाचार्य जी महाराज, श्री श्यामदास जी महाराज, श्री राम सुशीलदास जी महाराज, श्री गौरीदास जी महाराज, श्री सियाशरणदास जी महाराज, श्री राम बिलास शास्त्री जी, श्री राघवदास जी, श्री राजकुमारदास जी, श्री अवधकिशोरदास जी, श्री सानी गुरजीत सिंह जी, श्री राम शंकर दास जी, श्री शशिकांत दास जी एवं पूज्य महाराज श्री मुख्य रूप से उपस्थित रहे।

1 comment:

  1. महाराजश्री को कोटि कोटि नमन। नमो राघवाय ।

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